2022 उत्तर प्रदेश इलेक्शन जैसे-जैसे करीब आ रहा है प्रदेश का माहौल भी गरमाता जा रहा है। इस बीच समाजवादी पार्टी के सबसे बड़े मुस्लिम चेहरे और मुलायम सिंह के संघर्ष के दिनों के साथी आज़म खां सियासत से दरकिनार हो चुके हैं और समाजवादी को एक नए मुस्लिम चेहरे की तलाश है। शायद इसीलिए मुंबई से आने वाले समाजवादी पार्टी के महाराष्ट्र अध्यक्ष अबू आसिम आज़मी को उत्तर प्रदेश की राजनीति में आगे किया जा रहा है। इससे पहले जहां मुसलमानों के बीच समाजवादी की तरफ से आज़म खान वकालत करते हुए नज़र आते थे, अब उनकी जगह अबू आसिम आज़मी हर तरफ नज़र आ रहे हैं।
मुसलमानों की राजनीति का सबसे बड़ा गढ़ माना जाने वाला शहर अलीगढ़ ही है, शायद इसीलिए कल से अबू आसिम आज़मी अलीगढ़ दौरे पर आए हुए हैं। यूनिवर्सिटी बंद है इसलिए यूनिवर्सिटी में कोई प्रोग्राम हो ही नहीं सकता लेकिन अलीगढ़ आए हैं और यूनिवर्सिटी ना जाए यह भी मुमकिन नहीं क्योंकि मुसलमानों की निगाह अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय पर हमेशा टिकी रहती है।
इसी बीच आबू असिम आज़मी अपने समर्थकों के साथ अलीगढ़ मुस्लिम यूनिवर्सिटी जामा मस्जिद में स्थित इसके संस्थापक सर सैयद अहमद खान की क़बर पर फातिहा पढ़ने पहुंचे। जामा मस्जिद, हॉस्टल में होने के कारण वहां पर छात्र भी मौजूद थे चुनावी माहौल है, कहा कुछ भी जाए माना यही जाएगा की दौरा राजनैतिक है और राजनीतिक दौरे पर राजनीतिक सवाल ना हो यह नामुमकिन है।
छात्रों के सवाल
अबू आसिम आज़मी के एसएस हॉल पहुंचने पर छात्रों ने उन्हें घेर लिया और 2012 में समाजवादी पार्टी के मेनिफेस्टो में मुसलमानों के लिए जो 18% मुस्लिम रिजर्वेशन का वादा किया गया था जो अब तक अधूरा है उस पर छात्रों ने अबू आसिम आज़मी को सवाल पूछते हुए घेरा। इससे भी खास सवाल यह रहा कि छात्रों का यह इलज़ाम था कि समाजवादी सरकार में 5 साल योगी आदित्यनाथ की गोरखपुर दंगों की फाइल दबा कर रखी और उस पर एक्शन नहीं होने दिया छात्रों का कहना था कि अखिलेश यादव ने योगी आदित्यनाथ को संरक्षण दिया और उन्हीं की वजह से वह आज जेल से बाहर हैं, तो जो संरक्षण दे रहा है हम यह कैसे मान लें कि वह ईमानदारी से योगी सरकार के खिलाफ राजनैतिक लड़ाई लड़ेगा? छात्रों ने मुज़फ्फरनगर और मुज़फ्फरनगर के वक्त 67 मुस्लिम एमएलए जो उत्तर प्रदेश विधानसभा में थे उस पर भी सवाल किया और समाजवादी सरकार में इस दंगे के होने की वजह से समाजवादी को इसका ज़िम्मेदार ठहराया।
छात्रों के इन चुभ्ते हुए सवालों के जवाब में अबू आसिम आज़मी सिर्फ इतना ही कह सके की अखिलेश यादव ने बहुत काम किया, लेकिन क्या-क्या किया यह कुछ भी नहीं बता पाए और जल्द ही गाड़ी में बैठ कर वहां से निकल गएl कई छात्र पीछे से चीखते रहे की इस सवाल का जवाब देना तुम्हारे बस की नहीं है मगर अबू आसिम आज़मी अपने समर्थकों के साथ वहां से छात्रों से मुंह मोड़ कर भागने वाली स्थिति में निकल गए।
सवाल करने वाले छात्रों में कंप्यूटर साइंस विभाग के शोध छात्र इमरान खान, मोहम्मद वारिस, सलमान सिद्दीकी, मोहम्मद यासिर, यासीन, अदनान आदि और छात्रों के साथ मुख्य भूमिका में थे।