रांची प्रदर्शन में जान गंवाने वाले मुदस्सिर आलम ने प्रथम श्रेणी में पास की दसवीं क्लास की परीक्षा

रांचीः नबी ﷺ की शान में गुस्ताखी के ख़िलाफ झारखंड के रांची में 10 जून को विरोध प्रदर्शन हुआ था। इस प्रदर्शन में हिंसा हो गई थी, जिसमें मुदस्सिर आलम (15) की गोली लगने से जान चली गई थी। मुदस्सिर आलम दसवीं क्लास का छात्र था, उसकी  10वीं बोर्ड की परीक्षा का आज परिणाम आया है। मुदस्सिर ने यह फर्स्ट डिवीजन से पास की है। उसे 386 अंक मिले हैं.

Thank you for reading this post, don't forget to subscribe!

मुदस्सिर प्रथम श्रेणी में पास होने की खुशी के मनाने के लिये अब ज़िंदा नहीं है। जानकारी के लिए बता दें कि भाजपा की पूर्व प्रवक्ता नूपुर शर्मा और दिल्ली प्रदेश के भाजपा के ही मीडिया प्रभारी नवीन कुमार जिंदल द्वारा नबी ﷺ पर दिए गए अपमानजनक बयान के खिलाफ रांची में प्रदर्शन हुआ था। इस प्रदर्शन में हिंसा हो गई थी, जिसमें 20 वर्षीय साहिल और 15 वर्षीय मुदस्सिर आलम की गोली लगने से मौत हो गई थी.

न्यूज़ 18 की एक रिपोर्ट के मुताबिक़ मुदस्सिर आलम ने जैक बोर्ड से मैट्रिक की परीक्षा लिखी थी. उसके देहांत के 10 दिन बाद 21 जून को जैक ने बोर्ड के नतीजे जारी किए. 10वीं में मुदस्सिर आलम को फर्स्ट डिवीजन का अंक आया है. मुदस्सिर को टोटल मार्क्स 386 मिले हैं. जैक के जारी 10वीं के नतीजे में मुदस्सिर को इंग्लिश में 71, हिंदी में 64, उर्दू में 70, साइंस में 60, सोशल साइंस में 68 और मैथ में 53 अंक मिले हैं. मुदस्सिर आज अपना रिजल्ट देखने के लिए जिंदा नहीं है, लेकिन उसके रिजल्ट ने सभी को चौंका दिया है.

परिजनों को बुरा हाला

मुदस्सिर पुनदाग स्थित लिटिल एंजेल स्कूल से पढ़ाई कर रहा था और यहीं से उसने मैट्रिक की परीक्षा लिखी थी. पिता परवेज आलम और मां निखत परवीन का रो-रो कर बुरा हाल है. परवेज आलम ठेला में फल बेचकर परिवार का गुजर-बसर करते हैं और इसी कमाई से अपने बेटे को पढ़ा-लिखा रहे थे. मां बाप भी यह बात नहीं समझ पा रहे हैं कि उसका इकलौता बेटा आखिर उस भीड़ में कैसे शामिल हो गया.