नई दिल्लीः किसान आंदोलन भावनात्मक हो गया है। बीती रात से आंदोलन का केंद्र सिंघु बॉर्डर की जगह गाजीपुर बॉर्डर हो गया है। हजारों की संख्या में किसान गाजीपुर बॉर्डर पहुंच रहे हैं। गांवों से किसान राकेश टिकैत के लिए पानी और मट्ठा लाए हैं। बता दें कि कल शाम से ही राकेश टिकैत अनशन पर हैं और उन्होंने ऐलान किया था कि वो गांव का ही पानी पिएंगे। पानी पीकर किसान नेता राकेश टिकैत फिर भावुक हो गए।
बता दें कि कल शाम यूपी पुलिस और दिल्ली पुलिस के अफसर गाज़ीपुर बॉर्डर पर चल रहे किसानों के धरने में पहुंचे थे. किसान नेता बताते हैं कि इतनी संख्या में पुलिस फोर्स किसानों का आंदोलन खत्म कराने के लिये भेजी गई थी। इसके बाद राकेश टिकैत मीडिया के कैमरे के सामने फफक फफक रोए थे, उन्होंने आह्वान किया था कि मैंने पानी त्याग दिया है अब पानी तभी पियुंगा जब गांव से पानी आएगा। टिकैत का यह आह्वान सफल रहा, हज़ारों की संख्या में किसान गाज़ीपुर बॉर्डर के लिये रवाना हो गए, और आंदोलन स्थल पहुंचकर राकेश टिकैत को पानी पिलाया।
बता दें कि 26 जनवरी को किसान आंदोलन में हिंसा हो गई, लालक़िले पर निशान साहब फहरा दिया गया था। किसानों का आरोप है कि यह हिंसा आंदोलन को बदनाम करने के लिये सरकार की ओर से की गई है। किसानों ने आंदोलन को हिंसक बनाने वाले दीप सिद्धू की तस्वीरें भी जारी की थीं जिसमें वह पीएम मोदी, केन्द्रीय गृहमंत्री अमित शाह और भाजपा सांसद सन्नी देओल के साथ नज़र आ रहा था। इस शख्स पर किसानों ने आरोप लगाया कि किसान आंदोलन में इसी ने हिंसा भड़काई और यह शख्स भाजपा का आदमी है।