जानें कौन है ये मुस्लिम महिला क्रिकेटर जिसने हिजाब पहनकर की बॉलिंग, पूरी दुनिया में हुई थी तारीफ

जुलाई, 2021 में इंग्लैंड में 100 बॉल का क्रिकेट टूर्नामेंट द हंड्रेड खेला गया था. इस टूर्नामेंट की काफी चर्चा हुई थी. लेकिन, सबसे ज्यादा चर्चा स्कॉटलैंड की महिला खिलाड़ी अबताहा मकसूद (Abtaha Maqsood) की हुई थी. जिन्होंने हिजाब पहनकर गेंदाबाजी की थी. अबताहा का अंदाज देखकर लोग काफी हैरान भी हुए थे और उनकी तस्वीर सोशल मीडिया पर काफी वायरल हुई थी.

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देश में हिजाब (Hijab) को लेकर एक बार फिर मामला गरमाया हुआ है. कर्नाटक के उडुपी में सरकारी कॉलेज से शुरू हुआ हिजाब विवाद लगातार बढ़ता ही जा रहा है. आलम ये है कि इस विवाद ने हिंसा का रूप धारण कर लिया है. संसद तक में इस मामले की गूंज सुनाई दी. हालांकि, इससे पहले भी हिजाब को लेकर दुनियाभर में कई तरह के विवाद हो चुके हैं. कई जगहों पर जहां खुद मुस्लिम महिलाओं ने हिजाब का विरोध किया, तो कुछ ने इसका सम्मान भी बढ़ाया. आज हम आपको एक ऐसी ही महिला खिलाड़ी के बारे में बताने जा रहे हैं, जिन्होंने हिजाब पहनकर क्रिकेट के मैदान पर बॉलिंग की थी. जिनकी तस्वीर काफी वायरल हुई थी और लोगों ने उनकी सराहना भी की थी. तो आइए, जानते हैं उस महिला खिलाड़ी के बारे में…

Scotland’s @WildcatsCricket were lethal with the ball today, Abtaha Maqsood taking 3/8 including two in two to end the Uganda innings! #WT20Q pic.twitter.com/XxZoKhD4mj

— ICC (@ICC) July 7, 2018

जुलाई, 2021 में इंग्लैंड में 100 बॉल का क्रिकेट टूर्नामेंट द हंड्रेड खेला गया था. इस टूर्नामेंट की काफी चर्चा हुई थी. लेकिन, सबसे ज्यादा चर्चा स्कॉटलैंड की महिला खिलाड़ी अबताहा मकसूद  की हुई थी. जिन्होंने हिजाब पहनकर गेंदाबाजी की थी. अबताहा का अंदाज देखकर लोग काफी हैरान भी हुए थे और उनकी तस्वीर सोशल मीडिया पर काफी वायरल हुई थी. 22 साल की अबताहा लेग स्पिनर हैं. क्रिकेटर के साथ-साथ अबताहा मकसूद ताइक्वांडो में ब्लैक बेल्ट हैं. अबताहा ने बताया था कि 11 साल की उम्र से उन्हें क्रिकेट में दिलचस्प है. अबताहा ग्लासगो कॉमनवेल्थ गेम्स 2014 में अपने मुल्क की ध्वजवाहक भी रह चुकी हैं.

शुरुआत में काफी डरी हुईं थी अबताहा
एक इंटरव्यू के दौरान अबताहा मकसूद ने बताया था कि जब मैं छोटी थी तब मैंने किसी मुस्लिम एथलीट को हिजाब पहनते नहीं देखा. जब मैं हिजाब पहनकर खेलने पहुंची तो मुझे काफी डर लग रहा था. उन्होंने बताया था कि हॉल में आने से भी मैं डर रही थी. क्योंकि, लोगों का फोकस मेरे ऊपर ही होगा. लेकिन, मैंने हिम्मत नहीं हारी. हिजाब पहनकर क्रिकेट खेलने के लिए मैं काफी उत्साहित भी थी. इतना ही नहीं जो युवा लड़कियां हिजाब पहनती हैं, वो मुझे देख पाएंगी और उनमें भी हिम्मत भी आएंगी. आलम ये है कि अबताहा आज के समय में कई महिलाओं के लिए मिसाल बन चुकी हैं.